आठ अगस्त को बस स्टैंड कोटेतरा मे होगा चक्काजाम करने का कलेक्टर एसपी थानाप्रभारी और एसडीएम को ग्रामवासियों ने सौंपा ज्ञापन
जनपद पंचायत जैजैपुर अंतर्गत ग्राम पंचायत कोटेतरा का मामला
दो तत्कालीन पटवारीयो से किसान मिलीभगत कर शासकीय भूमि को आठ किसानों के नाम पर कर दिया फर्जी रिकार्ड दुरुस्तीकरण
आठ किसान और दो पटवारियों के खिलाफ कार्यवाही नही करने पर ग्रामवासियों आक्रोश
अगर पटवारी पर कार्यवाही तो आठ किसान पर क्यो नही जिम्मेदारी कौन
सात अगस्त तक दोनों पर कार्यवाही नही तो उग्र चक्काजाम
जैजैपुर तहसील अंतर्गत ग्राम पंचायत कोटेतरा में पदस्थ पटवारी ने शासकीय भूमि को पहले गांव के किसान का नाम किया फिर किसान ने उस भूमि की करवा दी रिकार्ड में दुरुस्त
नौ एकड़ शासकीय भूमि की अफरातफरी अधिकारी बने अनजान किसानों को अभयदान
पूर्व में भी शासकीय जमीन को भी हरेली सहेली के नाम पर भी 50 एकड़ कुछ कथाकथित किसान के कब्जे में
आज तक कार्यवाही क्यो नही
अधिकारी कर्मचारी की मिलीभगत से हो रहे शासकीय भूमि का निजीकरण
पटवारियों के खिलाफ नही होती कार्यवाही जिसके कारण कर रहे अपने पद की दुरुपयोग
जैजैपुर। तहसील कार्यालय जैजैपुर अंतर्गत आने वाले ग्राम पंचायत कोटेतरा में शासकीय जमीन का किसानों के नाम पर करने मामला सामने आया है। जिसमे पटवारी ने गाव के बिजली आफिस के पास शासकीय भूमि रकबा 45.40 एकड़ में से 9 एकड़ जमीन को किसानों के साथ मिलीभगत कर मूल रकबा में से 9 एकड़ जमीन को कूटरचना कर रिकार्ड में दुरुस्तीकरण पटवारी ने कर दिया है जानकारी मिलने पर मामले की शिकायतकर्त्ता ने तहसीलदार और कलेक्टर से की गई है। उल्लेखनीय है कि, तहसील कार्यालय जैजैपुर के ग्राम पंचायत कोटेतरा पटवारी ने रिकार्ड की कूटरचना करके किसानों के नाम पर शासकीय जमीन को रिकार्ड में चढ़ा दिया है जहां खसरा नंबर 127 जिसमे कुल 45 एकड़ 40 डिसमिल जमीन है। जिसको किसानों के नाम पर ऑनलाइन दिख रहा है जिसमे हल्का पटवारी विनोद डाहीरे ने कोटेतरा निवासी सीताराम पिता तिलकराम साहू,फागुलाल पिता सुखराम,सुभद्रादेवी गोपालन पति टीकाराम गोपालन (शिक्षक),बोधराम व अन्य पिता हरिराम साहू,श्यामलाल पुत्र बलवान सिंह नीराबाई बेवा बलवानसिंह,महेत्तर साहू पिता रूपसिंह,श्यामबाई बेवा चट्टानसिंह मथुरा राधिका गोंड़, पुरुषोत्तम पिता फिरतराम मिलीभगत कर शासकीय रिकार्ड में कूटरचना करते हुए खसरा नंबर 127/2 में 1.00 एकड़ ख नं, 127/3 में 1.00 एकड़ ख नं 127/4 में 2.00 एकड़ ख नं 127/5 में 1.00 एकड़ 127/6 में 1.00 एकड़ ख नं 127/7 में 1.00 एकड़ 127/8 में 1.00 एकड़ ख नं 127/9 में 1.00
कुल मिलाकर 9.00एकड़ रकबा को राजस्व अभिलेखों दर्ज कर फर्जी पर्ची, और बी 1, नक्शा काटते हुए उस भूमि की पर्ची बनाकरकिसानो को दे दिया है । इसकी जानकारी होने से गांव के लोगों में आक्रोश देखा जा रहा है तो वही दूसरी ओर पंचपति कुमार साहू ने पूरे मामले की शिकायत कलेक्टर तहसील कार्यालय में करते हुए दोषियों के ऊपर कड़ी कार्यवाही की मांग की है।
लगातार लग रहा राजस्व विभाग के दामन पर दाग फिर भी राजस्व विभाग के अधिकारी नही कर रहे कार्यवाही
जिले में इन दिनों राजस्व विभाग का दिन ठीक ठाक नही चल रहा है। पामगढ़ में एक पटवारी जेल भेजे जाने के मामले में पटवारी आंदोलन किये थे । पटवारियों के इस आंदोलन के बीच मे ही तीन पटवारियों का रंगरेलियां मानते जमकर धुनाई का मामला सामने आया था। जबकि जैजैपुर क्षेत्र के काशिगढ़ के किसान अपने हल्का पटवारी के घूसखोरी से परेशान होकर तहसील से लेकर कलेक्टर तक मे मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंप चुके थे ग्राम झालरौंदा में पटवारी द्वारा किसान से मिलीभगत कर सरकारी भूमि में फर्जीवाड़ा कर उसकी बिक्री की मामला सामने आने के बाद राजस्व विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों को सोचना पड़ा था कि आखिर इन गलतियों और पटवारियों के कारनामे को कैसे रोकें नही तो विभाग के दामन दाग यूं ही लगता रहेगा। अब कोटेतरा पटवारी ने भी कोई कसर नही छोड़े और किसानों के नाम पर शासकीय जमीन को कर दिया है अब देखना होगा कि किसानों के साथ ही साथ संबंधित दोषी पटवारी पर कार्यवाही किया जाता है या छोड़ दिया जाता है वैसे ही राजस्व विभाग सुर्खियों में लगातार बने हुए है
शासकीय शिक्षक ने भी अपने पत्नी के नाम पर सरकारी जमीन को नाम करवाया
आपको बता दे कि मिली जानकारी के अनुसार टीकाराम गोपालन शासकीय शिक्षक है इसका मूल निवासी कोटेतरा है शासकीय कर्मचारी होते हुए भी सरकारी जमीन को अपने पत्नी सुभद्रादेवी गोपालन के नाम पर पटवारी से मिलीभगत कर लगभग एक एकड़ जमीन को रिकार्ड दुरुस्त करवा कर पर्ची बनवा लेने की मामला प्रकाश में आया है ऐसे कर्मचारियो के खिलाफ उचित कार्यवाही कर निलंबित कर देना चाहिए जो सरकार की वेतन से अपने जीवन यापन करने वाले शिक्षक सरकार की वफादार नही है ऐसे शिक्षक को बर्खास्त कर देना चाहिए
शासकीय जमीन 50 एकड़ को हरेली सहेली के नाम पर किसानों के कब्जे
आपको बता दे कि ग्राम कोटेतरा में लगभग 50 एकड़ शासकीय भूमि को हरेली सहेली के नाम पर बाट दिए है और पर्ची तक बनवा लिए है और किसान उस जमीन के एवज में किसान धान बेच रहे है जिसकी शिकायत पूर्व में जन दर्शन पंचायत प्रस्ताव तहसीलदार सहित अनेको अधिकारीयो को ज्ञापन दे चुके है उसके बाद भी आज पर्यन्त तक कोई कार्यवाही नही हुई जिसके कारण ग्राम कोटेतरा में जिसकी लाठी उसकी भैस की तर्ज पर गांवों में विवादों का मौखाडा बन चुका है और लगातार सुर्खियों में यह गांव है जिसके कारण विकास की राह देख रहे है सुराजी की तरह भोलाभाला गांव बनते जा रहे है आने वाले बच्चों की भविष्य अंधकारमय होते जा रहे है इस गांव को अच्छी सी पहल शासन प्रशासन को करने की आवश्यकता है जिसकी जो मन मे आये वही कर रहे है इस गांव में लगातार पुलिस प्रशासन की नजर लगाए रहने की जरूरत महसूस किये जाने की जरूरत है कहा जाता है लड़ाई की जड़ जर जोरू जमीन होती है यो यहां सदियों से जमीन की लड़ाई बखूबी से चलते आ रहा है अगर शासन प्रशासन इस ओर ध्यान दे तो आने वाले पीढ़ी बच्चों की भविष्य सुधर सकते है
वर्जन
शिकायत की जांच हो चुका है जाँच प्रतिवेदन एसडीएम कार्यालय सक्ती भेजा जा चुका है कार्यवाही करने की अधिकार उच्च अधिकारियों को है
लक्ष्मीकांत कोरी
तहसीलदार
जैजैपुर